अतिरिक्त - प्रश्नोत्तर:
प्रश्न: कागज़ का अविष्कार कब किसने और कहा किया था?
उत्तर: कागज़ का अविष्कार करीब 1900 साल पहले कोई लुन नामक व्यक्ति ने चीन में लिया था|
प्रश्न: क्या तुम्हें लगता हैं कि कालिदास की प्रकृतिप्रेमी कहा जा सकता हैं?
उत्तर: हाँ, कालिदास को प्रकृतिप्रेमी कहा जा सकता हैं|
प्रश्न: कोई लून ने कागज़ किस विधि से तैयार किया था?
उत्तर: कोई लून ने पौधों के रेशों, कपड़ों, रस्सियों और पेड़ की छालों को पीट - पीट कर लुगदी बनाकर उसे पानी में भिगों दिया, फिर उस लुगदी को दबाकर उसका पानी निचोड़ा और तब सुखी कागज़ बनाया| आज भी कागज़ बनाने के लिए विधि को अपयाया जाता हैं|
प्रश्न: क्या तुम बता सकते हो कि इसकें कहानी का कौन - सा हिस्सा दिखाया गया हैं? यह हिस्सा क्यों चुना गया होगा?
उत्तर: इस कहानी के चित्र में राजा को अपनी प्रजा के साथ आमों का आनंद लेते दिखाया गया हैं| जिससे यह संदेश मिलाता हैं कि राजा अपनी प्रजा के साथ मिल - जुलकर रहता था| इसलिए ही इस हिस्से को चुना गया हैं|
प्रश्न: रोम के निवासी शून्य का प्रयोग किए बैगर करते थे| उसके बारे में और भी जानकारी हासिल करने की कोशिश करो|
उत्तर: कागज़ आज हमारे रोज़मर्रा की ज़िन्दगी का हिस्सा बन गया हैं| जो किताबें हम पढ़ते हैं वे कागज़ पर छापी होती हैं, उसी तरफ लिखने के लिए भी हम कागज़ का ही उपयोग करते हैं| कागज़ का आविष्कार करीब 1900 साल पहले कोई लून नाम के व्यक्ति ने चीन में किया| उसने पौधों के रेशों, कपड़ों, रस्सियों और पेड़ की छालों को पीट - पीट कर लुगदी बनाकर उसे पानी में भिगों दिया| फिर उस लुगदी को दबाकर उसका पानी निचोड़ा और तब सुखा कर कागज़ बनाया| आज भी हाथ से कागज़ बनाने के इसी विधि को अपनाया जाता हैं|
कागज़ बनाने की तकनीक को सदियों तक गुप्त रखा गया| करीब 1400 साल पहले यह कोरिया तक पहुँची| इसके तुरंत ही यह जापान तक फ़ैल गई| करीब 1800 साल पहले यह बगदाद में पहुँची फिर बगदाद से यह यूरोप, अफ्रीका और एशिया के अन्य भागों में फैली| इस उपमहाद्वीप में भी कागज़ की जानकारी बगदाद से ही आई|
प्रश्न: प्राचीन भारत की पांडुलिपियाँ किस चीज़ पर तैयार की जाती थी?
उत्तर: प्राचीन भारत की पांडुलिपियाँ ताड़पत्रों अथवा हिमालय क्षेत्र में उगने वाले भूर्ज नामक पेड़ की छाल से विशेष तरीके से तैयार भोजपत्र पर लिखि जाती थी| कल्पना करो| तुम एक मंदिर के मण्डप में बैठे हो| अपने चरों तरफ के दृश्य का वर्णन करो|